"सृजन से" साहित्य व कलात्मक विधाओं की एक अग्रणीय त्रैमासिक पत्रिका है। जिसका उद्देश्य सभी सृजनात्मक विधाओं को न केवल एक धरातल पर उकेर लाना है वरन उससे भी महत्वपूर्ण इन कलाओं की नयी पोंध के लिये भरपुर खाद पानी जुटाकर स्तरीय सृजन को प्रोत्साहन देना है। यह उत्तराखंड के कला सहित्य के साथ ही हिन्दी साहित्य, रंगमंच, चित्रकला, नृत्य संगीत तथा कला जगत की विभिन्न गतिविधियों की जानकारी कला प्रेमीयों तक लाने का प्रयास है।
"सृजन से" का यह कार्य मैग्ससे पुरुस्कार से सम्मानित पदम श्री दीप जोशी जी, ख्याति प्राप्त चित्रकार पदम श्री डां० यशोधर मठपाल जी, रंगमंच की वरिष्ठ हस्ती नईमा खान उप्रेती जी व गाज़ियाबाद के अपर जिला सुचना अधिकारी युगल किशोर जी के संरक्षण व मार्गदर्शन में हो रहा है।
अभी तक "सृजन से" के तीन अंकों में देश के अनेक वरिष्ठ व चर्चित लेखक, रचनाकार व चित्रकार जैसे कि पदम श्री डा० रमेश चन्द्र शाह, पदम श्री डा० यशोधर मठपाल, महेश दर्पण, दयानन्द अनंत, मोहमद सलीम, दिनेश दिवेदी, मंगलेश डबराल, डा० शिव ओम अम्बर, डा० कुंअर बेचैन, मनमोहन सरल, बंधु कुशावर्ती, डा० उर्मिल कुमार थपलियाल, दिनेश सिन्दल, गिरीश तिवारी "गिर्दा", कवि कुलवंत सिंह, मकबूल वाजिद, डा० नन्दकिशोर ढौडियाल, डा० आशा पांडेय इत्यादी अपना लेखकीय सहयोग दे रहे हैं।
बिना किसी के आर्थिक मदद से "सृजन से" के माध्यम से उत्कृष्ट रचनाओं एवं उभरते हुए युवा रचनाकारों को एक मंच प्रदान करने का सराहनीय प्रयास किया जा रहा है।
पत्रिका से सम्बधित विस्तृत जानकारी www.srujunse.blogspot.com पर प्राप्त की जा सकती है। अपनी उत्कृष्ट रचनाऎं "सृजन से" को भेजने हेतु आपsrujanse.patrika@gmail.com पर ई-मेल कर सकते हैं।
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