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Thursday, December 2, 2010

Feedback from Meenu Joshi...

‘‘सृजन से‘‘ पत्रिका के प्रथम एवं द्वितीय दोनों अंक प्राप्त हुए। पढ़कर ऐसा लगा कि काफी लम्बे समयान्तराल के बाद हिन्दी की स्तरीय पत्रिका पढ़ी, साहित्य प्रेमियों के लिए यह एक शुभ संकेत है। साहित्य मर्मज्ञों के साथ नव सृजक भी इस पत्रिका में अपना स्थान सुरक्षित देखकर काफी उत्साहित एवं प्रेरित होंगे, ऐसा मेरा विश्वास है। लोकसंस्कृति, साहित्य, कला, रंगमंच का इतना सुन्दर समागम पत्रिका के उज्जवल भविष्य को परिलक्षित करता है। संपादकीय में मीना पाण्डे जी का ‘एक जोडी ताजा आँखों का लोभ’ नवीन पीढ़ी व नव सृजनकर्ताओं के लिए अवश्य ही प्रेरणा का कार्य करेगा। पत्रिका के उज्जवल भविष्य की कामना करते हुए संपादक मंडल को हार्दिक शुभकामनाएँ प्रेषित करती हूँ। साथ ही सृजन एवं पठन के माध्यम से पत्रिका से जुड़ना चाहती हूँ।

मीनू जोशी
अल्मोड़ा (उत्तराखंड)

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